September 21, 2024

CG : पीएम के आदर्श गांव में किराए पर शिक्षा, जर्जर हो चुकी इमारत, सरपंच बोले- पत्र लिख-लिख कर थक गया

बालोद । छत्तीसगढ़ के बालोद जिले में ग्राम पंचायत जगतरा के आश्रित ग्राम पाकुरभाट में इन दिनों ननिहाल किराए के भवन में अपनी प्रारंभिक शिक्षा ग्रहण करने को मजबूर है दरअसल आंगनबाड़ी केंद्र का संचालन विगत दो वर्षों से किराए के भवन में हो रहा है इनका वास्तविक आंगनबाड़ी भवन झज्जर हो चुका है और कैंपस में झाड़ियां उग गई है सरपंच का कहना है कि आंगनबाड़ी बनवाने के लिए मैं लगातार प्रस्ताव भेज रहा हूं परंतु अभी तक कोई ठोस कदम प्रशासन द्वारा नहीं उठाया गया है सरपंच ने बताया कि आंगनवाड़ी भवन न होने से कई सारी व्यावहारिक दिक्कतों का सामना वहां आने वाली गर्भवती महिलाओं और वह पढ़ने वाले हमारे छोटे-छोटे बच्चों को करना पड़ता है।

बालोद जिले में कुछ ही गांव ऐसे हैं जो प्रधानमंत्री आदर्श गांव के रूप में चयनित है और जिस गांव की हम बात कर रहे हैं वहां पर अनुसूचित जाति वर्ग के लोग ज्यादातर संख्या में निवास करते हैं ऐसे में यहां के लोग प्रशासन की इस उपेक्षा से काफी नाराज हैं आंगनवाड़ी कार्यकर्ता का कहना है कि 2 साल से हम यहां पर आंगनबाड़ी का संचालन कर रहे हैं पिछला आंगनबाड़ी भवन जो है वह पूरी तरह जर्जर है पानी टपकता है वहां पर गर्भवती महिलाओं को चलने में भी काफी दिक्कतें होती थी कई बार हादसा होते-होते बचा है।

डिस्मेंटल का इंतजार
वहीं जिला महिला एवं बाल विकास अधिकारी धीरेंद्र कुमार ने बताया कि जानकारी मिली है कि वहां पर आंगनबाड़ी केंद्र किराए के भवन में संचालित है परंतु हमारे विभाग द्वारा परियोजना अधिकारी द्वारा इस भवन को लेकर प्रस्ताव एसडीएम के पास भेजा गया है जैसे ही उनके द्वारा प्रस्ताव में अप्रूवल किया जाता है तो उसे पुराने भवन को डिस्मेंटल घोषित कर दिया जाएगा और नए भवन की प्रक्रिया शुरू कर दी जाएगी सरपंच का आरोप है कि इतने दिनों में सारी प्रक्रियाओं को पूरा करने काफी समय क्यों लग रहा है जबकि यह प्रधानमंत्री का आदर्श गांव है यहां तो प्रशासन को प्राथमिकता में लेकर सभी कार्य कराए जाने चाहिए।

आदर्श ग्राम का सपना
‘आदर्श ग्राम’ वह है जिसमें लोगों को विभिन्न बुनियादी सेवाओं तक पहुँच प्राप्त हो ताकि समाज के सभी वर्गों की न्यूनतम ज़रूरतें पूरी हो सकें और असमानताएँ न्यूनतम हो सकें। इन गाँवों में सभी बुनियादी ढाँचे होंगे और उनके निवासियों को ऐसी सभी बुनियादी सेवाओं तक पहुँच होगी जो एक सम्मानजनक जीवन जीने के लिए आवश्यक हैं, जिससे ऐसा माहौल बनेगा जिसमें हर कोई अपनी क्षमता का पूरा उपयोग करने में सक्षम होगा इसके लिए अनुसूचित जाति वर्ग के बहुल्यता वाले गांव का चयन प्राथमिकता से किया गया है परंतु जो बुनियादी ढांचे इस गांव को मिलनी चाहिए उससे यह गांव को शो दूर नजर आ रहा है।

error: Content is protected !!