December 12, 2024

CG : राजधानी में बनाया गया मैथमेटिकल गार्डन, खेल खेल में बच्चे सीख रहे मैथ्स…

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रायपुर। राजधानी रायपुर के WRS कॉलोनी स्थित केंद्रीय विद्यालय 1 में पिछले महीने मैथमेटिकल गार्डन बनाया गया है. इस गार्डन में गणित से संबंधित डिजाइन या आकृति जैसे, प्रिज्म, समकोण, न्यून कोण, सर्कल बनाई गई है. जो बातें बच्चों को क्लास रूम में जल्दी समझ नहीं आती, इस गार्डन में आकर बच्चे आसानी से खेल खेल में समझ जाते हैं और गणित के सवालों को हल कर सकते हैं.

मैथमेटिकल गार्डन को लेकर बच्चों में उत्साह : छत्तीसगढ़ में 37 केंद्रीय विद्यालय हैं, जिसमें प्रयोग के तौर पर पहला मैथमेटिकल गार्डन केंद्रीय विद्यालय क्रमांक 1 WRS कॉलोनी में शुरू किया गया है. इस गार्डन को लेकर स्कूल के बच्चों में उत्साह भी देखने को मिल रहा है.केंद्रीय विद्यालय 1 के छात्र दृश्य वलेचा ने बताया कि इस गार्डन का निर्माण बच्चों के लिए कराया गया है. इसमें गणित की सारी चीज इनकॉरपोरेट हुई है. फाइंडिंग एरिया ऑफ क्रॉस रोड, बार ग्राफ, हिस्टोग्राम जैसी चीजों को बच्चे खेलते खेलते पढ़ सकते हैं. यह पढ़ने के लिए काफी अच्छा है और इससे अच्छे अंक भी मिलेंगे.

इस गार्डन में जितनी भी चीज बनाई गई हैं, वह कक्षा पहली से लेकर 12वीं तक के बच्चों के लिए हैं. मैथमेटिकल गार्डन जितनी भी कक्षाओं में मैथ्स के सब्जेक्ट हैं, उनको इनकॉरपोरेट करता है. यह आसानी से समझ में भी आ जाता है. क्लासरूम में इन सब चीजों को रटना पड़ता है, लेकिन यहां पर खेलते खेलते सीखने को मिलता है. यह आसानी से हमारे दिमाग में भी सेट हो जाता है : दृश्य वलेचा, छात्र, केंद्रीय विद्यालय 1

बच्चों के लिए मैथ्स समझना हुआ आसान : केंद्रीय विद्यालय की छात्रा पी. पूर्वी ने बताया कि इस गार्डन में वह सब चीज है, जो हम क्लास रूम में ब्लैक बोर्ड पर समझाते हैं. जैसे पैरामीटर हो गए, एप्लीकेशन हो गए, रियल लाइफ बेस क्वेश्चन जैसी चीजों को हम पार्क में आकर आसानी से सीख सकते हैं. उदाहरण देते हुए पूर्वी ने बताया कि जैसे प्रिज्म है, उसको हम टच कर उसे फील कर आसानी से समझ सकते हैं और उसको याद कर सकते हैं. लेकिन क्लास रूम में समझना आसान नहीं होता. यहां पर आकर हम जल्दी सीखने के साथ ही रिटेंशन पावर गेन कर सकते हैं.

प्रैक्टिकल लर्निंग के लिए अहम है मैथ्स गार्डन : केंद्रीय विद्यालय के गणित के टीचर ओम प्रकाश सोनी ने बताया कि त्रिभुज चतुर्भुज इसके साथ ही सर्कल और सर्कल के जितने भी पार्ट्स हैं, इन सभी चीजों को यहां पर दर्शाया गया है. थ्योरम को भी बहुत अच्छे से यहां पर बनाया गया है. गेट खोलते ही प्रोटेक्टर के माध्यम से किसी भी एंगल को बच्चे आसानी से माप सकते हैं. एक्सपीरियंस और लर्निंग दोनों चीज यहां पर आसानी से कर सकते हैं.

इस गार्डन में कक्षा पहली से लेकर 12वीं तक के बच्चों को मैथ्स के जितने भी कॉन्सेप्ट हैं, उनको बताया जा रहा है. जो बच्चे किताब देखकर प्रैक्टिकल लर्निंग नहीं कर पाते हैं. उन बच्चों को प्रैक्टिकल लर्निंग करने के लिए इस मैथमेटिकल गार्डन का निर्माण कराया गया है : केंद्रीय विद्यालय के ओम प्रकाश सोनी, गणित टीचर

पहले प्रयोग के तौर पर किया गया निर्माण : केंद्रीय विद्यालय के प्राचार्य अशोक चंद्राकर ने बताया कि बच्चों में एक्सपीरियंशयल लर्निंग कराने का प्रावधान है. ताकि बच्चे स्वयं जाकर अमूर्त चीजों को मूर्त रूप में देख कर उसे समझें और अपने जीवन में उतार सकें. स्कूल के प्राचार्य ने बताया कि पूरे छत्तीसगढ़ में 37 केंद्रीय विद्यालय हैं, जिसमें पहले प्रयोग के तौर पर केंद्रीय विद्यालय क्रमांक 1 WRS कॉलोनी में इस मैथमेटिकल गार्डन की शुरुआत की गई है.

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