लघु उद्योग प्रसंस्करण और वनोपज पर आधारित उद्योग की भरपूर संभावनाएं : मंत्री श्री लखमा
०० उद्योग स्थापित करने युवाओं को बैंकों से ऋण स्वीकृति पत्र प्रदान किए
रायपुर| उद्योग मंत्री और धमतरी जिले के प्रभारी मंत्री श्री कवासी लखमा ने आज धमतरी में आयोजित औद्योगिक विकास पर आधारित जिला स्तरीय संगोष्ठी में शामिल हुए। उन्होंने कहा कि धमतरी जिला धान की पैदावार के लिए प्रदेश के शीर्ष जिलों में शुमार है। यहां पर धान या चावल के अलावा लघु उद्योग प्रसंस्करण केन्द्र के साथ-साथ वनोपज पर आधारित उद्योगों की भी भरपूर संभावनाएं हैं। उन्होंने विशेष तौर पर आदिवासी बाहुल्य नगरी और मगरलोड विकासखण्ड में वनोत्पाद एवं वन सम्पदा पर आधारित उद्योग स्थापित करने पर जोर दिया।
उद्योग मंत्री ने कहा कि इमली, लाख, महुआ जैसे अनेकानेक वनोत्पाद जिले में मौजूद हैं। इसके अलावा सब्जी एवं फलों पर आधारित प्रसंस्करण उद्योगों की स्थापना की जिले में बहुत संभावनाएं हैं। रायपुर, बिलासपुर, दुर्ग जैसे व्यावसायिक शहरों की भांति धमतरी में भी तेजी से औद्योगिक विकास हो रही है। मुख्यमंत्री श्री भूपेश बघेल के नेतृत्व में प्रदेश शासन कुटीर उद्योगों को बढ़ावा देने के लिए हरसंभव मदद दे रहा है। युवा उद्यमियों को इसका लाभ लेने के लिए आगे आना चाहिए। उन्होंने कहा कि जिले के उद्यमी सिर्फ राइस मिल ही नहीं, बल्कि अन्य उद्योगों की स्थापना के बारे में भी विचार करें। उद्योग स्थापित करने में आदिवासी वर्ग आज भी काफी पिछड़ा हुआ है, जिसके लिए जनजागरूकता अभियान और व्यापक प्रचार-प्रसार की भी जरूरत है। मंत्री ने माना कि वन क्षेत्रों में उद्योग स्थापित करना काफी चुनौतीपूर्ण होता है, किन्तु प्रशासन के परस्पर अंतर्विभागीय समन्वय से ऐसे प्रकरणों का प्राथमिकता से समाधान किया जाएगा। कार्यक्रम को विधायक द्वय श्रीमती रंजना साहू और श्रीमती लक्ष्मी ध्रुव ने सम्बोधित किया। प्रमुख सचिव उद्योग श्री मनोज पिंगुआ ने कहा कि रोजगार के परम्परागत साधन अपर्याप्त हैं तथा शासकीय क्षेत्र में सेवाएं भी सीमित मात्रा में हैं। ऐसे में उद्यमिता ही ऐसा क्षेत्र है जिससे युवा पीढ़ी बेहतर भविष्य एवं नए अवसर पैदा कर सकती है। उन्होंने आगे कहा कि पहले उद्योग स्थापित करना आर्थिक रूप से सशक्त लोगों के लिए ही उपयुक्त माना जाता था, किन्तु आज के दौर में ऋण एवं अन्य सुविधाओं ने इसे काफी आसान बना दिया है। सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्यमिता (एमएसएमई) के जरिए यह काफी सरल हो गया है। नवीन औद्योगिक नीति का भी यही उद्देश्य है कि जो क्षेत्र अछूते रह गए हैं, उन्हें इसके दायरे में लाते हुए स्थापना के लिए नए युवा उद्यामियों को तैयार कर उन्हें प्रोत्साहित किया जाएगा। कार्यक्रम में उद्योग मंत्री श्री लखमा के द्वारा तीन युवाओं को उद्योग स्थापना के लिए बैंकों से ऋण स्वीकृति पत्र प्रदान किए। इस अवसर पर कलेक्टर श्री रजत बंसल, एसपी श्री बीपी राजभानू, महापौर श्री विजय देवांगन, जिला पंचायत की अध्यक्ष श्रीमती कांति सोनवानी, पूर्व विधायक द्वय श्री हर्षद मेहता एवं श्री लेखराम साहू सहित जनप्रतिनिधि एवं बड़ी संख्या में नागरिक उपस्थित थे।