छत्तीसगढ़ में कांवर पर सिस्टम, कहीं कंधों पर मरीज, तो कहीं सुविधाओं के लिए संघर्ष….
गरियाबंद। छत्तीसगढ़ के गरियाबंद जिलान्तर्गत मैनपुर ब्लॉक के राजा पड़ाव इलाके के 8 पंचायत के अधीन आने वाले 40 गांव के सैकड़ों ग्रामीण शिक्षा, स्वास्थ्य, सड़क पुल जैसी मूलभूत सुविधाओं की आधी अधूरी व्यवस्था से आक्रोशित हैं. वर्षो से मांग करते आ रहे ग्रामीणों ने इस बार अपने अधिकारों की मांग के लिए संघर्ष का पैटर्न बदल दिया है. बैठक आहूत कर ग्रामीणों ने अब मांगे नहीं माने जाने पर राशन नहीं लेने का फैसला लिया है.
इसके अलावा अधूरी स्वास्थ्य-शिक्षा व्यवस्था का भी बायकॉट करने का फैसला ले लिया है. उनकी मांगों पर क्या विचार किया गया. उसकी जानकारी लेने बुधवार को प्रतिनिधि मंडल कलेक्टर से मिलेगा. उसके बाद ही अपने फैसले पर अमल शुरू कर देंगे.
ग्रामीणों ने बनाया संगठन
ग्रामीणों ने अब अधिकारों की मांग को लेकर अंबेडकर वादी युवा संगठन बना कर उसे आगे कर दिया है. अब युवा नेतृत्व ने मोर्चा संभाल लिया है. ग्रामीणों के इस फैसले के बाद प्रशासन भी सकते में आ गया है. प्रशासन की ओर से एसडीएम पंकज डाहिरे ने कहा है कि ग्रामीणों के सभी जायज मांग पर कार्रवाई शुरू हो गई है जो अपने समय में पूरे होते जायेंगे.
कांवर में बुजुर्ग महिला को पहुंचाया अस्पताल
इधर, जशपुर से एक वीडियो सामने आया. जो मूलभूत सुविधाओं के पूरे करने के दावे की पोल खोल रहा है. यहां जब एक बुजुर्ग महिला बीमार हुई तो उसे कांवर में ढोकर अस्पताल पहुंचाया गया, क्योंकि सड़क नहीं होने से गांव तक एम्बुलेंस नहीं पहुंच पाती. मामला बगीचा विकासखंड के ग्राम पंचायत मरंगी के चूरीलकोना का है. महिला को दो किलोमीटर ढोकर अस्पताल ले जाया गया. अस्पताल ले जाते वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है.