November 30, 2024

CG : बाघ की खाल का सौदा करने वाले CRPF अफसर का नाम आया सामने, लेकिन हो गया फरार

बीजापुर। छत्तीसगढ़ के बीजापुर में बाघ की खाल का 13 लाख रुपये में सौदा करने वाले सीआरपीएफ अफसर का नाम सामने आ गया है। उसके नाम का खुलासा खुद गुरुवार को इंद्रावती टाइगर रिजर्व के डिप्टी डायरेक्टर गणवीर धम्मशील ने किया। उन्होंने बताया कि अफसर ने 7.5 लाख रुपए एडवांस भी दिए थे। बाकी रकम खाल मिलने के बाद देना तय हुआ था। आरोपी अफसर को पूछताछ के लिए तलब किया गया है। बताया जा रहा है कि वह फरार हो गया। उसके पकड़े जाने के बाद और खुलासे हो सकते हैं।

इंद्रावती टाइगर रिजर्व कार्यालय के कांफ्रेस हॉल में डिप्टी डायरेक्टर गणवीर धम्मशील ने मीडिया को बताया कि, सीआरपीएफ 222 बटालियन के नैमेड कैम्प में पदस्थ सब इंस्पेक्टर अमित झा ने शिकारियों से खाल का सौदा किया था। डिलीवरी देने से पहले ही वन अमले को इसकी खबर लग गई। इसके बाद वन ने धरपकड़ की लगातार कार्यवाही शुरू कर दी। उपनिदेशक गणवीर धम्मशील ने 30 जून की से लेकर अब तक कि पूरी कार्रवाई का विवरण विस्तार से बताया है। उन्होंने बताया कि सीआरपीएफ अफसर, श्रवण झाड़ी, सीताराम, महेंद्र, समैया व संतोष के पकड़े जाने के बाद और भी खुलासे हो सकते हैं।

बाघ की हड्डियां बरामद
आईटीआर की टीम ने छत्तीसगढ़-महाराष्ट्र बॉर्डर पर दफनाई गई बाघ की हड्डियां और मारने के लिए इस्तेमाल हुआ फंदा बरामद किया है। इस मामले में 12 आरोपियों की गिरफ्तारी अब तक हो चुकी है। बाघ भोपालपटनम के कोंडामौसम गांव के नदी किनारे लगाए गए फंदे में फंसा था। यह क्षेत्र टाइगर रिजर्व एरिया में छत्तीसगढ़ और महाराष्ट्र बार्डर पर पड़ता है। आईटीआर की टीम ने कोंडामौसम गांव से बाघ के चारों पैरों की हड्डियां, सिर की हड्डी और जिस फंदे में फंस कर बाघ की मौत हुई उसे बरामद किया था।

पहले बताया था बेचने के लिए घूम रहे
बीजापुर में वन विभाग की टीम ने शुक्रवार देर रात भोपालपटनम क्षेत्र के मद्देड बफर जोन इलाके के रुद्रारम में छापा मारकर सात तस्करों को गिरफ्तार किया था। पकड़े गए आरोपियों के पास से बाघ की खाल बरामद हुई थी। इसी मामले में सोमवार को दो पुलिसकर्मियों सहित पांच और आरोपी पकड़े गए थे। पकड़े गए आरोपियों ने तब पांच महीने से खाल बेचने के लिए घूमने की बात बताई थी। जिस बाघ को मारा गया उसकी उम्र करीब ढाई साल बताई गई। यह कार्रवाई उदंती सीतानदी अभ्यारण्य की पोचिंग टीम, इंद्रावती टाइगर रिजर्व और वन मंडल बीजापुर क टीम ने संयुक्त रूप से की है।

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