दस्तावेज में जिंदा आदमी को बता दिया मरा, अपने को जीवित साबित करने किसान लगा रहा चक्कर
कवर्धा। छत्तीसगढ़ के कबीरधाम जिला अंतर्गत ग्राम महका के किसान पटवारी की लापरवाही का शिकार हो गया. पटवारी ने जीवित किसान के मृत (फौत) होने की राजस्व विभाग को भेज दी, जिसके कारण किसान इस वर्ष अपने धान का एक भी दाना बेच नहीं पाया है. अब किसान अपने को जिंदा बताने के लिए कार्यालयों का चक्कर लगा रहा है।
पूरा मामला पंडरिया ब्लाक अंतर्गत ग्राम महका का है, जहां के किसान भागवत चंद्रकार का ग्राम महका व बीजाभाटा में कुल 7 एकड़ जमीन है. किसान ने पिछले साल महली सोसायटी में 114 क्विंटल धान बेचा था, लेकिन इस वर्ष जब सोसायटी में धान बेचने पहुंचा तब किसान पंजीयन की सूची में भागवत का नाम ही नहीं था. अधिकारियों के पास जानकारी लेने के लिए पहुंचा तो पता चला कि किसान पंजीयन सूची में भागवत को मृत घोषित कर दिया गया है.
शासकीय सर्वे सूची में फौत होने की जानकारी मिलने के बाद भागवत नाम जुड़वाने और अपने आप को जीवित साबित करने के लिए कई विभाग के चक्कर काट चुका है, जिससे वह अपना धान बेच सके. लेकिन आज तक वह धान का एक दाना नहीं बेच पाया है. थक हारकर किसान कलेक्टर के पास गुहार लगाने पहुंचा, जिन्हें वह आवेदन देकर अपने जिंदा होने का सबूत दे रहा है।
किसान ने बताया कि उसने डेढ लाख का केसीसी लोन भी लिया है, अगर धान नहीं बेच पाएगा तो लोन भी नहीं जमा कर पाएगा. धान बेचकर ही अपने व परिवार का जीवन यापन कर रहा है. इस मामले में कलेक्टर द्वारा जांच के बाद कार्रवाई की बात कही है, साथ ही किसान का पूरा धान खरीदने का भी दावा किया है।
इस मामले में कवर्धा कलेक्टर अवनीश कुमार करण ने कहा कि मीडिया के माध्यम से मामले की जानकारी मिली है. अगर ऐसा कुछ होगा तो किसान को सहायता करेंगे. उन्होंने लापरवाह पटवारी पर कार्रवाई करने की बात भी कही है।