April 24, 2024

छत्तीसगढ़ में जमकर बरसा ‘हरा सोना’, गदगद हुए अदिवासी

रायपुर।  छत्तीसगढ़ में कोरोना संकट के बावजूद ‘हरा सोना’ जमकर बरसा है।  बघेल सरकार ने सभी तेंदूपत्ता श्रमिकों को समय पर भुगतान सुनिश्चित करने के निर्देश दिए हैं. कोरोना संकट ने भले ही देश की अर्थव्यवस्था को प्रभावित किया हो, लेकिन छत्तीसगढ़ के जंगलों में हरे सोने की जमकर बारिश हुई है. लॉकडाउन के दौरान प्रदेश में 6 लाख 71 हजार मानक बोरा तेंदूपत्ता संग्रहण के लक्ष्य रखा गया था, लेकिन 9 लाख 72 हजार 697 मानक बोरा का संग्रहण किया जा चुका है, जो कुल लक्ष्य का 58 प्रतिशत है. इससे संग्राहकों को 389 करोड़ रुपए की आय हुई है। 

मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने निर्देशित किया था कि लॉकडाउन के बीच भी कृषि और वन आधारित आर्थिक गतिविधियां चलती रहें. नए सीजन में तेंदूपत्ता संग्रहण कार्य में उत्पन्न नई चुनौतियों का आंकलन कर रणनीति तैयार की गई. तेंदूपत्ता के संग्रहण से लेकर भंडारण तक कार्य पूरी तरह से स्थानीय श्रमिकों से कराया गया. सरकार ने तेंदूपत्ता संग्रहण दर में इजाफा करते हुए 4000 रुपए प्रति मानक बोरा कर दिया, जिससे संग्रहकों ने इस सीजन में खासे उत्साह के साथ तेंदूपत्ता का संग्रहण किया. गौरतलब है कि छत्तीसगढ़ के तेंदूपत्ते की गुणवत्ता देश में सर्वश्रेष्ठ मानी जाती है

मुख्यमंत्री ने सभी तेंदूपत्ता श्रमिकों को समय पर भुगतान सुनिश्चित करने के निर्देश दिए हैं, जिन अंदरुनी क्षेत्रों में बैंकों के माध्यम से राशि के अंतरण में असुविधा हो रही हो, वहां श्रमिकों को नकद भुगतान करने को कहा गया है. छत्तीसगढ़ राज्य लघु वनोपज सहकारी संघ से प्राप्त जानकारी के अनुसार अब तक जिला यूनियन बीजापुर में 81 हजार 998 मानक बोरा तेंदूपत्ता का संग्रहण किया गया है.  

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