November 15, 2024

तीन महीने के भीतर दिल्ली की 48 हजार झुग्गियों को हटाएं : सुप्रीम कोर्ट

नई दिल्ली।  सुप्रीम कोर्ट ने दिल्ली में तीन महीने के भीतर 48,000 झुग्गी-झोपड़ियों को हटाने का निर्देश दिया है. शीर्ष अदालत ने कहा है कि योजना के क्रियान्वयन में किसी भी प्रकार का राजनीतिक हस्तक्षेप नहीं होना चाहिए. कोर्ट ने कहा है कि झुग्गी-झोपड़ियों को चरणबद्ध तरीके से हटाया जाएगा। 

शीर्ष अदालत ने किसी भी अदालत को क्षेत्र में अतिक्रमणों को हटाने के संबंध में किसी भी तरह का स्टे देने से भी रोक दिया है. जस्टिस अरुण मिश्रा, न्यायमूर्ति बीआर गवई और जस्टिस कृष्ण मुरारी की बेंच ने यह आदेश पारित किया है.

तीन जजों की पीठ ने कहा है कि यदि कोई अंतरिम आदेश रेलवे पटरियों के साथ अतिक्रमणों के संबंध में दिया जाता है तो यह प्रभावी नहीं होगा.

शीर्ष अदालत की पीठ ने पर्यावरण प्रदूषण (रोकथाम और नियंत्रण) प्राधिकरण (EPCA) द्वारा निर्देशित रिपोर्ट पर का संज्ञान लिया. कोर्ट ने कहा कि झुग्गियों को हटाने की कार्रवाई किए जाने के बाद क्षेत्र से कचरा और अतिक्रमण हटाने के बारे में एक महीने के भीतर अदालत को सूचित किया जाना चाहिए.

शीर्ष अदालत की पीठ ने कहा, ‘हम सभी हितधारकों को यह भी निर्देशित करते हैं कि झुग्गियों को हटाने के लिए एक व्यापक योजना बनाई जाए और इसे चरणबद्ध तरीके से निष्पादित किया जाए. सुरक्षा क्षेत्रों में जो अतिक्रमण हैं, उन्हें तीन महीने की अवधि के भीतर हटा दिया जाना चाहिए और राजनीतिक या अन्यथा ढंग से कोई हस्तक्षेप नहीं होना चाहिए. कोई भी अदालत संबंधित क्षेत्र में अतिक्रमण हटाने के संबंध में कोई स्टे नहीं देगी.

पीठ ने कहा, ‘यदि अतिक्रमण के संबंध में कोई अंतरिम आदेश दिया जाता है, जो रेलवे पटरियों के साथ बनाया गया है, तो यह प्रभावी नहीं होगा.’

गौरतलब है कि ईपीसीए ने अपनी रिपोर्ट में रेलवे को निर्देश देने की मांग की थी. ईपीसीए ने कहा कि दिल्ली और इसके आसपास के क्षेत्र से शुरू होने वाले उत्तरी क्षेत्र में ठोस अपशिष्ट प्रबंधन के लिए एक समयबद्ध योजना पेश की जाए.  

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